मानसून की पहली बारिश / कोरिया में हसदेव नदी का पानी हाइवे पर आया, 2 घंटे से एनएच-43 पर जाम; बिलासपुर में पेड़ गिरे, निर्माण कार्य के चलते घरों में पानी भरा

काेरिया जिले में सोमवार से लगातार बारिश हो रही, पुल के पास ही डैम बनाए जाने से दिक्कत बढ़ी

बिलासपुर में 24 घंटे के दौरान 69 मिमी पानी बरसा, तापमान में 7 डिग्री की गिरावट दर्ज की गई

कोरिया/बिलासपुर. मानसून की दस्तक के साथ कई जिलों में झमाझम का दौर जारी है। पहली बरसात ने लोगों को गर्मी से निजात दिलाई है, वहीं सरकारी सिस्टम की पोल खोलकर रख दी है। कोरिया जिले में मंगलवार को हसदेव नदी का पानी पुल पर आने के कारण एनएच-43 जाम हो गया है। करीब दो घंटे से वाहन फंसे हुए हैं। बिलासपुर में भी 24 घंटे के दौरान 69 मिमी बारिश रिकॉर्ड की गई है। कई जगहाें पर पेड़ गिर गए हैं और निर्माण कार्य के चलते निचले इलाकों में पानी भर गया है।

कोरिया जिले में मंगलवार को हसदेव नदी का पानी पुल पर आने के कारण एनएच-43 जाम हो गया है। करीब डेढ़ घंटे से वाहन फंसे हुए हैं।

हसदेव नदी पुल के पास बनाया डैम, परेशानी का कारण बना
मनेंद्रगढ़ समेत पूरे जिले में सोमवार से लगातार बारिश का दौर जारी है। ऐसे में हसदेव नदी का पानी भी उफान पर है। नदी पर ग्राम पंचायत लाई में कटनी-गुमला हाईवे (एनएच-43) पर पुल बना हुआ है। इसी से 200 मीटर की दूरी पर जल आवर्धन योजना के तहत तीन साल पहले डैम बना दिया गया। डैम बनने से गेट बंद है। जिसके चलते बारिश होने पर नदी का पानी पुल पर आ जाता है। मंगलवार को भी पानी आने से पुल के दोनों ओर जाम लगा हुआ है। कई लोग खतरे में जान डालकर पुल पार भी कर रहे हैं।

नदी पर करीब एक साल पहले नया पुल बनाया गया। यह अभी तक शुरू नहीं हो सका है। पुल बनने के बाद भी वन विभाग ने हाइवे के निर्माण के लिए अनुमति नहीं दी। सालभर फाइल लटकने के बाद अब अनुमति मिली है।

एक साल पहले नया पुल बना, लेकिन अभी तक शुरू नहीं हुआ
डैम के चलते दिक्कत होने से नदी पर करीब एक साल पहले नया पुल बनाया गया। यह अभी तक शुरू नहीं हो सका है। पुल बनने के बाद भी वन विभाग ने हाइवे के निर्माण के लिए अनुमति नहीं दी। सालभर फाइल लटकने के बाद अब अनुमति मिली है, जिसके बाद काम शुरू हो सका है। हालांकि, सड़क मार्ग बनने में समय लगेगा। ऐसे में अभी तक पुराने पुल से ही काम चलाया जा रहा है। इसके कारण बारिश होने और पहाड़ियों से पानी का फ्लो बढ़ने से नदी का जल स्तर बढ़ जाता है। इससे पुराने पुल पर पानी आ जाता है।

ये तस्वीर बिलासपुर के भरनी संग्रहण केंद्र की है। जिले में बारिश के साथ खुले में पड़ा धान भीग गया है। इसको बचाने का भी प्रयास नहीं किया जा रहा। हालत यह हो गई है कि धान के बोरे भीगने से उसमें जड़ें और घास निकल आई है।

बिलासपुर : कई इलाकों में बिजली बंद, सरकारी क्वार्टर क्षतिग्रस्त
बिलासपुर में सोमवार सुबह से लगातार बारिश के कारण निचले इलाकों में पानी भर गया है। जोरदार बारिश से तापमान में 7 डिग्री सेल्सियस की गिरावट आई है। बारिश और तेज हवाओं के चलते कई स्थानों पर पेड़ भी गिरे हैं। वेयर हाउस रोड पर सरकारी क्वार्टर पर पेड़ गिरने से क्षतिग्रस्त हो गया है। व्यापार विहार में सड़क निर्माण कार्य चल रहा है। जिसके कारण नाली बंद होने से पानी लोगों के घरों में भर गया है। जिले में 1 से 16 जून तक 98.2 मिलीमीटर औसत वर्षा रिकॉर्ड की गई है।

बिलासपुर में बारिश और तेज हवाओं के चलते कई स्थानों पर पेड़ भी गिरे हैं। वेयर हाउस रोड पर सरकारी क्वार्टर पर पेड़ गिरने से क्षतिग्रस्त हो गया है।

छत्तीसगढ़ के कुछ इलाकों में भारी बारिश की चेतावनी
मौसम विभाग ने मंगलवार को प्रदेश के अधिकांश स्थानों पर हल्की से मध्यम वर्षा होने या गरज चमक के साथ छींटे पड़ने की संभावना है। सरगुजा संभाग और उसके आसपास के जिलों में अधिक वर्षा, मध्य भाग और दक्षिण में कम वर्षा होने की संभावना है। एक-दो स्थानों पर भारी वर्षा व गरज चमक के साथ आकाशीय बिजली गिरने की भी संभावना है। एक द्रोणिका उत्तर पश्चिम राजस्थान से गंगेटिक पश्चिम बंगाल पूर्व राजस्थान, उत्तर मध्य प्रदेश और झारखंड होते हुए 0.9 किमी ऊंचाई तक स्थित है।


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