सीजीपीएससी के नए चेयरमैन बने टामन सिंह सोनवानी, नक्सलियों की धमकी के बाद भी बदली थी अबूझमाड़ की सूरत

नक्सल प्रभावित जिले नारायणपुर के कलेक्टर रह चुके हैं टामन सिंह, नई जिम्मेदारी पर कहा- पीएससी की स्टडी के बाद प्राथमिकताएं तय करूंगा

रायपुर. मुख्यमंत्री सचिवालय के सेक्रेट्री और डायरेक्टर एग्रीकल्चर टामन सिंह सोनवानी राज्य लोक सेवा आयोग के नए चेयरमैन बनाए गए हैं। टामन सिंह 2004 बैच के आईएएस अफसर हैं। वे नारायणपुर और कांकेर जिले के कलेक्टर रह चुके हैं। इन इलाकों में सड़क, पानी और बिजली पहुंचाने का अभियान उन्होंने चलाया। टामन 2021 में  सितंबर में रिटायर होने वाले थे, लेकिन अब चेयरमैन बनने की स्थिति में उन्हें वीआरएस लेना होगा। पीएससी चेयरमैन की रिटायरमेंट एज 62 साल है। वे अभी साढ़े 58 साल के हैं। इस तरह वे करीब साढ़े तीन साल चेयरमैन रहेंगे।

नक्सल इलाके में सड़कें ऐसी नहीं होती थी कि किसी अफसर की कार जा सके, बाइक पर भी लोगों के साथ टामन सिंह लोगों से मिलने या हो रहे विकास कार्यों का जायजा लेने निकल जाया करते थे। तस्वीर नारायणपुर की
नक्सल इलाके में सड़कें ऐसी नहीं होती थी कि किसी अफसर की कार जा सके। बाइक पर भी लोगों के साथ टामन सिंह लोगों से मिलने या हो रहे विकास कार्यों का जायजा लेने निकल जाया करते थे। तस्वीर नारायणपुर की है।

राजधानी के करीब धमतरी जिले के सर्वदा रहने वाले टामन सिंह 1991 में राज्य प्रशासनिक सेवा में आए। 2008 में उन्हें आईएएस अवार्ड हुआ। आईएएस में उन्हें 2004 बैच मिला।  सोनवानी की आईटी  सेक्टर में काफी अच्छी पकड़ है। कृषि विभाग में पोस्ट मिलने के उन्होंने यहां काफी काम किया । उनकी पत्नी डाक्टर हैं। टामन सिंह के परिवार में कई डाक्टर हैं। रायपुर के पूर्व सीएमओ डॉ सोनवानी भी उन्हीं के परिवार से आते हैं। पं सुंदरलाल शर्मा ओपन यूनिवर्सिटी की रजिस्ट्रार डॉ इंदू अनंत उनकी बहन हैं। टामन सिंह सोनवानी ने दैनिक भास्कर से कहा कि वे पहले पीएससी को समझेंगे उसके बाद अपनी प्राथमिकताएं तय करेंगे।

जब मिली थी नक्सलियों की धमकी 
पोस्ट पर नक्सलियों ने लिख रखा है बदला लेंगे, दूसरी तरफ सरकारी कार्यक्रम में लोगों की भीड़ उन्हें करारा जवाब भी दे रही है। तस्वीर साल 2016 की जब टामन सिंह नारायणपुर में कलेक्टर थे।

पोस्ट पर नक्सलियों ने लिख रखा है- बदला लेंगे। दूसरी तरफ सरकारी कार्यक्रम में लोगों की भीड़ उन्हें करारा जवाब भी दे रही है। तस्वीर साल 2016 की जब टामन सिंह नारायणपुर में कलेक्टर थे।

साल 2016 में टामन सिंह नारायणपुर जिले के कलेक्टर थे। इस जिले का अबूझमाड़ इलाका आज भी नक्सलियों की गिरफ्त में है। इस क्षेत्र के कई गांवों में प्रशासन आजादी के बाद भी नहीं पहुंच पाया था। टामन सिंह ऐसे ही गांवों में अफसरों की टीम लेकर जाया करते थे। कभी पैदल तो कभी बाइक पर गांव पहुंचकर लोगों की समस्याएं जानकर उनपर काम करते थे। 7 अप्रैल  2016 में  उन्होंने दंतेवाड़ा जिले की सीमा में बसे ग्राम कन्हारगांव में जन समस्या निवारण शिविर का आयोजन किया। इस गांव में नक्सलियों ने धमकी भरे पोस्टर बैनर लगा रखे थे। टामन सिंह पर ग्रामीणों को भरोसा था। यही वजह थी कि धमकी के बाद भी 3000 से ज्यादा ग्रामीणों शिविर में हिस्सा लिया था।


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