गांव लौटने की उम्मीद में पूरी रात पटरियों पर चले, मालगाड़ी की चपेट में आने से दो की मौत

दो अन्य साथियों की बची जान, पटरी पर आराम करने रुके थे तभी आ गई ट्रेन, पेंड्रा में खाद बनाने वाली कंपनी में खाद बनाने का प्रशिक्षण लेने गए थे युवक

कोरिया. छत्तीसगढ़ के दो युवकों के लिए घर जाने की कोशिश जानलेवा साबित हुई। पटरी पर चलकर गांव लौट रहे दो युवक मालगाड़ी की चपेट में आ गए। बुरी तरह घायल होने के बाद पटरी के किनारे देर तक झटपटाते रहे, और दम तोड़ दिया। इनके साथ दो अन्य व्यक्ति भी थे, जो इस हादसे में बच गए। घटना मंगलवार की सुबह उदलकछार रेलवे स्टेशन के पास हुई। हादसे की जानकारी मिलते ही मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने स्थानीय प्रशासनिक अधिकारियों से बात की और हर मुमकिन मदद देने का भरोसा दिलाया।  

हसदेव जंगल के पास पोल क्रमांक 941 /17-18 के पास युवकों का शव पड़ा होने की सूचना पुलिस को दी गई। जानकारी के मुताबिक मृतक मरवाही पेंड्रा गौरेला ज़िला के गोरखपुर में खाद बनाने वाली एक फैक्ट्री में लॉकडाउन के दौरान फंस गए थे। यहां वह खाद बनाने का प्रशिक्षण लेने अाए थे। सूरजपुर ज़िले के गेवरा उजगी पहुँचने के लिए पूरी रात पटरियों पर चलते रहे। युवकों के नाम कमलेश्वर राजवाड़े (22)और गुलाब राजवाड़े (22) है।  इनके साथी उमेश देवांगन, मोहर सिंह को मामूली चोटें आईं हैं। पुलिस घटना की जांच कर रही है। जानकारी मिली है कि इनके साथ मौजूद एक अन्य युवक भी था जो एक मालगाड़ी में चढ़कर गांव चला गया है


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